पंचतंत्र से भागवत क्या सीख सकते हैं? || Panchtantra story of Durbudhi Vinashyati and Mohan Bhagwat



दत्तोपंत ठेंगठी जी ने “समाचार पत्र प्रचार तंत्र” पर लिखा था। ये व्यवस्था काम कैसे करती है, उस विषय में समझाया था। संभव है कि इतनी भारी भरकम (35 पन्ने से भी कम की) पुस्तिका कुछ लोग पढ़ नहीं पाएंगे। क्या है कि वो “संघ” से जुड़े थे न! उनका लिखा पढ़ लेना तो पाप होगा? इसलिए हमने पंचतंत्र की वो कहानी निकाली जो ऐसे ही सुन रखी होगी। जहाँ तक मोहन भागवत जी के बयानों का प्रश्न है, वो अपने बयानों की वजह से अक्सर विवादों में आते रहे हैं। बिहार चुनावों से ठीक पहले वो आरक्षण के विषय में बोलकर भाजपा का मत-प्रतिशत कम करवा चुके हैं। एससी-एसटी एक्ट जैसे मुद्दों पर भी उनकी राय ने भाजपा का नुकसान किया है।
जहाँ तक जातियों का प्रश्न है उसपर पढ़ने लायक एक पुस्तक है “कास्ट्स ऑफ माइंड” Castes Of Mind – https://amzn.to/3XciNZn जिसमें विदेशी आक्रमणों के समय भारत में इस व्यवस्था के घुस आने के लिए जो वजहें रहीं, उनकी चर्चा की गयी है।

By anandkumar

आनंद ने कंप्यूटर साइंस में डिग्री हासिल की है और मास्टर स्तर पर मार्केटिंग और मीडिया मैनेजमेंट की पढ़ाई की है। उन्होंने बाजार और सामाजिक अनुसंधान में एक दशक से अधिक समय तक काम किया। दोनों काम के दायित्वों के कारण और व्यक्तिगत रूचि के लिए भी, उन्होंने पूरे भारत में यात्राएं की हैं। वर्तमान में, वह भारत के 500+ में घूमने, अथवा काम के सिलसिले में जा चुके हैं। पिछले कुछ वर्षों से, वह पटना, बिहार में स्थित है, और इन दिनों संस्कृत विषय से स्नातक (शास्त्री) की पढ़ाई पूरी कर रहें है। एक सामग्री लेखक के रूप में, उनके पास OpIndia, IChowk, और कई अन्य वेबसाइटों और ब्लॉगों पर कई लेख हैं। भगवद् गीता पर उनकी पहली पुस्तक "गीतायन" अमेज़न पर बेस्ट सेलर रह चुकी है।

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