पटना 30 मई| दीदी जी फाउंडेशन की संस्थापिका एवं ग्लोबल कायस्थ कॉन्फ्रेंस बिहार की प्रदेश अध्यक्ष डॉ नम्रता आनंद ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मध्य प्रदेश स्थित बक्सवाहा जंगल की कटाई रुकवा देने का आग्रह किया है ।

ग्लोबल कायस्थ कॉन्फ्रेंस की प्रबंध न्यासी श्रीमती रागिनी रंजन प्रसाद के Go green अभियान का समर्थन करते हुए डॉ नम्रता आनंद ने कहा कि हम सब पर्यावरण को बचाने, जागरूकता फैलाने और देश के भविष्य को बचाने के लिए हर संभव प्रयत्न करेंगे। विश्व पर्यावरण दिवस के लिए पर्यावरण जागरूकता सप्ताह दीदी जी फाउंडेशन और ग्लोबल कायस्थ कॉन्फ्रेंस बिहार द्वारा संयुक्त रूप से मनाया जा रहा है। डॉ नम्रता आनंद ने कहा प्रबंध न्यासी श्रीमती रागिनी रंजन प्रसाद द्वारा इस अभियान के तहत आर्थिक मदद की जा रही है जो यह दिखाता है कि मानवता उनके अंदर कितनी कूट-कूट कर भरी हुई है। अपने लिए तो सब जीते हैं जो दूसरों के लिए जीता है वही सचमुच में इंसान कहलाने लायक हैं।

पर्यावरण जागरूकता अभियान के दूसरे दिन आज दीदी जी फाउंडेशन के अंतर्गत संचालित और कुरथौल पंचायत स्थित संस्कारशाला के बच्चों के बीच पर्यावरण ही उपाय, ऑक्सीजन एवं धरा नहीं तो सब धरा रह जाएगा, नामक विषय पर पेंटिंग प्रतियोगिता आयोजित की गई।जिसमें 75 बच्चों ने भाग लिया। मध्य प्रदेश के छतरपुर जिले में हीरे की खान के लिए बक्सवाहा के 382 हेक्टेयर में स्थित जंगल को काटकर हीरा उत्खनन करने के लिए मध्य प्रदेश सरकार द्वारा प्रदान की गई अनुमति की आलोचना करते हुए बच्चों ने इसका भारी विरोध किया। बच्चों ने कहा कि हमें हीरा नहीं चाहिए हमें ऑक्सीजन चाहिए जिससे हम भी अपना भविष्य को सुनहरा देख सकें।

कोरोना महामारी के तीसरे लहर के बाद चौथे पांचवें और छठे लहर को आने ही क्यों दिया जाए, क्यों नहीं हम लोग वृक्षारोपण करें, क्यों नहीं जल जीवन हरियाली को बढ़ावा दें ,क्यों नहीं हम लोग गो ग्रीन का समर्थन करें‌ ,क्यों नहीं हम लोग पेड़ लगाएं। बच्चों ने भी अपने प्रिय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से हाथ जोड़ के निवेदन किया कि आप तो बच्चों को बहुत प्यार करते हैं फिर बच्चों के भविष्य के लिए मध्य प्रदेश सरकार के द्वारा लिए गए फैसले पर कड़ा रोक क्यों नहीं लगाते।
डॉ नम्रता आनंद ने कहा ग्लोबल कायस्थ कॉन्फ्रेंस की प्रबंध न्यासी श्रीमती रागिनी रंजन एवं राष्ट्रीय अध्यक्ष राजीव रंजन प्रसाद की विशेष पहल गो ग्रीन अभियान सराहनीय है ।डॉ नम्रता ने कहा कि इस अभियान की सार्थकता के लिए जरूरत पड़ी तो दीदी जी फाउंडेशन के संस्कारशाला के बच्चों एवं ग्लोबल कायस्थ कांफ्रेंस के सदस्यों के साथ 24 घंटे का उपवास कर गो ग्रीन अभियान अभियान को सफल बनाया जाएगा।
नम्रता आनंद ने ग्लोबल कायस्थ कॉन्फ्रेंस की प्रबंध न्यासी रागनी रंजन प्रसाद, राष्ट्रीय अध्यक्ष राजीव रंजन प्रसाद, पीपल नीम तुलसी के संस्थापक डॉ धर्मेंद्र कुमार, मध्य प्रदेश के कटनी की समाज सेविका एडवोकेट मंजूषा गौतम, मध्यप्रदेश के भोपाल के समाजसेवी राजीव जैन, समस्तीपुर के संजय कुमार बबलू, कानपुर से नवीन दीक्षित और रितिका गुप्ता, पश्चिम बंगाल से मनीषा कुमारी, राजस्थान से महेंद्र सिंह खोखर एवं विजयावती चौधरी, पंजाब से वरिंदर जैन, हरियाणा से राहुल, दिल्ली से मनीष कुमार, झारखंड से रवि कुमार एवं विभिन्न जगहों के समाजसेवी को धन्यवाद दिया और कहा है कि सभी लोग अपनी-अपनी जगह से बक्सवाहा वन बचाओ अभियान के लिए पहल कर केंद्र सरकार से इस वन को बचाने की गुहार लगा रहे हैं। आज देश के हजारों, लाखों बच्चे इस अभियान में शामिल हो गए हैं। ये बच्चे मांग कर रहे हैं कि आप पेड़ काटो अभियान की जगह पर पेड़ लगाओ अभियान चलाएं।

नम्रता ने कहा कि रागिनी रंजन की मुहिम,गो ग्रीन अभियान किचन वेस्ट पदार्थों का पर्यावरण में उपयोग, छत ,बालकनी, खाली पड़ी बंजर जमीन, बाउंड्री करके छोड़ी गई जमीन, अपने खाली कैंपस सभी जगह पौधे लगाने कि इस अभियान में हम सब को उनका समर्थन करना चाहिए और देश को आने वाली भयानक संकट से बचाने की कोशिश करनी चाहिए।

गो ग्रीन साप्ताहिक अभियान के दूसरे दिन आज संस्कारशाला के बच्चों ने पर्यावरण से संबंधित चित्रकला प्रतियोगिता में अपनी सहभागिता दिखाई।शामिल सभी बच्चे को मास्क और विजेता बच्चों को सेनेटाइज़र पुरस्कार स्वरूप दिया गया। इस अवसर पर बच्चों द्वारा विभिन्न प्रकार के 200 पौधे लगाए गए। बच्चों में बहुत उत्साह था।

इस कार्यक्रम को सफल बनाने में मिथिलेश कुमार सिंह,चुन्नू सिंह ,रंजीत ठाकुर,गौरी कुमारी आदि ने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई।

By anandkumar

आनंद ने कंप्यूटर साइंस में डिग्री हासिल की है और मास्टर स्तर पर मार्केटिंग और मीडिया मैनेजमेंट की पढ़ाई की है। उन्होंने बाजार और सामाजिक अनुसंधान में एक दशक से अधिक समय तक काम किया। दोनों काम के दायित्वों के कारण और व्यक्तिगत रूचि के लिए भी, उन्होंने पूरे भारत में यात्राएं की हैं। वर्तमान में, वह भारत के 500+ में घूमने, अथवा काम के सिलसिले में जा चुके हैं। पिछले कुछ वर्षों से, वह पटना, बिहार में स्थित है, और इन दिनों संस्कृत विषय से स्नातक (शास्त्री) की पढ़ाई पूरी कर रहें है। एक सामग्री लेखक के रूप में, उनके पास OpIndia, IChowk, और कई अन्य वेबसाइटों और ब्लॉगों पर कई लेख हैं। भगवद् गीता पर उनकी पहली पुस्तक "गीतायन" अमेज़न पर बेस्ट सेलर रह चुकी है।

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